गुरूर । विधायक संगीता सिन्हा एंव पूर्व विधायक ने केन्द्र सरकार के चुनावी राजभोगी नीति पर कड़े शब्दों में हमला किया। उन्होंने कहा कि अपने चुन...
गुरूर । विधायक संगीता सिन्हा एंव पूर्व विधायक ने केन्द्र सरकार के चुनावी राजभोगी नीति पर कड़े शब्दों में हमला किया। उन्होंने कहा कि अपने चुनावी घोषणा में हरेक व्यक्ति के खाते में 15 लाख रुपए जमा करने, 2 करोड़ लोगों को प्रतिवर्ष रोजगार देने, किसानों की आय दोगुना करने, महंगाई कम करने सहित कई खोखले वादे कर केन्द्र की सत्ता में आई भाजपा सरकर हर मामले में विफल रही। इसकी विफलता का ताजा उदाहरण दिल्ली में आंदोलरित किसान है जो केन्द्र सरकार द्वारा पारित तीन कृषि विधेयक बिल को वापस लेेने के लिए लाखों की तादात में अन्नदाता विगत डेढ़ माह से दिल्ली को चारों ओर से घेर लिए, इसमें अब तक लभग 57 किसान शहीद हो चुके हैं, लेकिन केन्द्र सरकार द्वारा फिल्मी डायलाग अनुसार चर्चा करने के लिए तारीख पर तारीख बनाते हुए कुल 9 वार्ताओं की औरपाचिकता निभाई। केन्द्र सरकार अडानी, अंबानी सहित अन्य उद्योगपतियों के मोहजाल में फंसकर किसानों की उन्नति और प्रगति रोक रही है। केन्द्र सरकार द्वारा जब से कृषि विधेयक बिल पारित हुआ तब से किसानों की चिंता बढ़ गई है। इन्होंने ने कहा कि छत्तीसगढ़ में किसानों के विकास के लिए लोकलुुभावी घोषणा पत्र जारी कर विगत 15 साल तक राज करने वाली भाजपा सरकार के कार्यकाल में किसानों के लिए किए वादा से मुकरने पर छत्तीसगढ़ के सभी विधानसभा से कर्ज से लदे किसानों ने आत्महत्या की उस समय भाजपाई द्वारा कोई धरना-प्रदर्शन नहीं किया। बीते एक दिसंबर से किसानोंं से समर्थन मूल्य में धान खरीदी कर रहे छत्तीसगढ़ के कांग्रेस सरकार को केन्द्र सरकार द्वारा मांग अनुरूप कम बारदाना देकर धान खरीदी प्रभावित करने का काम रही है। लेवी में चावल न लेेकर या अन्य प्रकार के षड्यंत्र करते हुए किसानों को फसल का उचित मूल्य देने से रोका जा रहा है। यह भाजपा का दोहरे चरित्र को दर्शाता है। केन्द्र में छह साल से भाजपा की सरकार है। भाजपा के राज में मंहगाई, बेरोजगारी लगातार बढ़ रही है। भाजपा की दोहरे नियत से लोकतंत्र का भरोसा उठ रहा है जिसके कारण छत्तीसगढ़ में सत्ता बदलते हुए कांग्रेस को सौंपी जिस पर कांग्रेस सरकार द्वारा लोकतंत्र के सोच को लेकर निरंतर कार्य कर रही है।
No comments